सचिन मिश्रा 08

Monday, November 10, 2008

तुमको न भूल पाएंगे

वह दस नवंबर 2000 का दिन था, जब सौरव गांगुली पहली बार भारतीय टीम के कप्तान के तौर पर टास के लिए मैदान में उतरे थे। इसके ठीक आठ साल बाद दस नवंबर 2008 को ही दादा ने उस खेल को अलविदा कहा, जिसे उन्होंने अपनी जिंदगी के बेहतरीन लम्हे दिए।

टीम इंडिया ने आस्ट्रेलिया को चौथे और आखिरी टेस्ट में 172 रन से हराकर न सिर्फ श्रृंखला 2.0 से अपने नाम करके गांगुली को शानदार विदाई दी बल्कि दुनिया की नंबर एक टीम को ऐसा नासूर दे डाला, जिसकी टीस उसे बरसों तक महसूस होती रहेगी।

आज के बाद भले ही गांगुली यह कहते हुए नजर न आएं कि आप दादा को भूले तो नहीं, मगर देशवासी क्या उन्हें भूल पाएंगे? मिस यू दादा...तुमको न भूल पाएंगे...

2 Comments:

At November 11, 2008 at 2:07 AM , Blogger राज भाटिय़ा said...

बहुत सुंदर लेख
धन्यवाद

 
At November 11, 2008 at 10:53 PM , Blogger Udan Tashtari said...

अलविदा दादा को.

 

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